रिपोर्ट- शशांक सिन्हा प्रदेश संवाददाता
विगत कई वर्षों से देवीपाटन मंडल अंतर्गत आने वाले जनपदों में विभिन्न सामाजिक गतिविधियों साथ उन्नत समाज के निर्माण हेतु कृतसंकल्पित पंचवटी श्री सीताराम आश्रम नन्हे बालक/ बालिकाओं को संस्कार शाला के माध्यम से शिक्षित/संस्कारिक करने की अलख जलाए हुए है, कोविड के भयावह कालखंड के बावजूद आश्रम के पीठाधीश्वर रविशंकर जी महराज गुरूभाई के लगातार प्रयत्नों से 14 जनवरी 2021 को ऋषि भूमि रिसिया में प्रथम संस्कारशाला की नींव पड़ी, जिसने समाज के तमाम धर्मपरायण प्रबुद्ध जनों को आकृष्ट करते हुए देवीपाटन मंडल में मात्र 18 महीनों में 14 संस्कारशाला स्थापित करने साथ लगभग 1200 बालक/बालिकाओं को निर्बाध रूप से शिक्षित/संस्कारिक करने हेतु अग्रसर है,
मण्डल के इंडो नेपाल बॉर्डर (तराई) क्षेत्र में निवासरत थारू जनजाति के परिवारों के सर्वांगीड़ विकास हेतु आश्रम सदैव कृतसंकल्पित रहा है, इसी कड़ी में आज जनपद बहराइच के अति दूरस्थ ग्रामीण क्षेत्र *सोहनिक बलईगांव* में पंचवटी श्री सीताराम आश्रम के तत्वाधान में मुख्यअथिति घनश्याम सिंह जिलाअध्यक्ष कोऑपरेटिव की गरिमामयी उपस्थिति साथ क्षेत्र के प्रबुद्ध जनों, मातृशक्ति,आश्रम केंद्रीय समिति की उपस्थिति के बीच 30 बालक/ बालिकाओं की नई पौध साथ 15 वीं संस्कारशाला का आश्रम के पीठाधीश्वर रविशंकर जी महाराज गुरूभाई के करकमलों द्वारा विधिवत दीप प्रज्वलन व स्वस्तिवाचन कर श्रीगणेश किया गया,
कार्यक्रम में सेवाभारती विभाग अध्यक्ष इन्द्रबहादुर जी ने संबोधित करते हुए उपस्थित बच्चों को संस्कार का ज्ञान प्रदान करने साथ प्रथम गुरु माता/ पिता का सदैव आदर सत्कार पर प्रकाश डाला,
मुख्यअथिति घनश्याम जी ने बच्चों से मन लगाकर पढ़ने साथ देश सेवा का आशीर्वाद प्रदान किया,
वहीं रविशंकर महराज गुरुभाई ने क्षेत्र के सर्वांगीण विकास हेतु उपस्थित विद्वत जनों से बॉर्डर क्षेत्र में व्याप्त कुरीतियों व अशिक्षा के अंधकार को खत्म करने में पूर्ण सहयोग की अपेक्षा साथ विदेशी ताकतों की कुदृष्टि से सतर्क रहने का आह्वाहन किया।