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नानपारा बहराइच- कृषि विज्ञान केंद्र द्वारा आयोजित हुआ दो दिवसीय प्रसार

रिपोर्ट- राहुल पाण्डेय

कृषि विज्ञान केंद्र नानपारा द्वारा आयोजित दो दिवसीय प्रसार कार्यकर्ताओं का मृदा नमूना कैसे एकत्र करें, जांच एवं उसका महत्व विषय पर प्रशिक्षण संपन्न हुआ। जिसकी अध्यक्षता वरिष्ठ कृषि वैज्ञानिक एवं अध्यक्ष डॉक्टर के एम सिंह ने की। इस मौके पर मृदा वैज्ञानिक डॉ दुर्गेश कुमार , डॉक्टर बी पी सिंह, डॉ मनीष कुमार डॉ अरुण कुमार, डॉक्टर हर्षिता एवं डॉ एस बी सिंह आदि उपस्थित रहे।
मृदा परीक्षण के उद्देश्य से मृदा के नमूने एकत्र करके परीक्षण कराने से फसलों में रासायनिक खादों की प्रयोग की सही मात्रा की जानकारी प्राप्त करना तथा ऊसर एवं अम्लीय मृदा का सुधार करना तथा उपजाऊ बनाने के दृष्टिकोण से मृदा परीक्षण करवाना आवश्यक हो जाता है मृदा नमूना एकत्र करने से पहले मृदा परीक्षण ट्यूब, बर्मा, फावड़ा तथा खुरपी, कपड़े का थैला साथ लेकर जाएं। मृदा नमूना लेने से पूर्व ऊपर की घास फूस साफ कर ले फिर बर्मा द्वारा 15 सेंटीमीटर गहराई तक मृदा की एकसार टुकड़ी एकत्रित कर ले यदि आप फावड़े या खुरपी का प्रयोग कर रहे हैं तो V आकार का 15 सेंटीमीटर गहरा गड्ढा बनाएं फिर दोनों किनारे से समान पतली परत ऊपर से नीचे तक एकत्र कर ले ठीक इसी तरह पूरे खेत से 10 से 12 अलग-अलग स्थानों से नमूना एकत्र कर ले तथा एक भगोने या साफ कपड़े पर अच्छी तरह मिला लें।
मृदा वैज्ञानिक डॉ दुर्गेश कुमार ने बताया कि नमूना लेते समय विशेष ध्यान रखने वाली बात यह है कि रासायनिक खाद की पट्टी वाली जगह नमूना एकत्र न करें जिन स्थानों पर पुरानी बाड़, सड़क हो और जहां गोबर की खाद का ढेर लगाया गया हो या गोबर की खाद डाली गई हो वहां से नमूना एकत्र ना करें।
एक खेत से एकत्र की हुई मिट्टी को अच्छी तरह मिलाने के बाद नमूने को छाया में सुखा लें उसके पश्चात उसमें से लगभग आधा किलो मिट्टी का नमूना ले जो समूचे खेत का प्रतिनिधित्व करता हो, हर नमूने के साथ नाम, पता और खेत का नंबर का लेबल अवश्य लगाएं अपने रिकॉर्ड के लिए भी एक नकल रख ले। लेबल हमेशा दो तैयार करें एक थैली के अंदर डालने के लिए और दूसरा बाहर लगाने के लिए। लेबल पर कभी भी स्याही से न लिखे हमेशा बाल पेन से लिखें। खेत वा खेत की फसलों का ब्यौरा सूचना पत्र में लिखें, सूचना पत्र में खेत का नंबर, अपना नाम तथा पता, नमूने का प्रयोग (बीज वाली फसल और किस्म), मृदा का स्थानीय नाम, भूमि की किस्म सिंचाई का साधन, प्राकृतिक एवं भूमि के नीचे पानी की गहराई, भूमि का ढलान, फसलों के अगल-बदल, रासायनिक खादों का ब्यौरा जो प्रयोग की गई हो, और कोई समस्या जो मृदा से संबंधित हो। हर नमूने को साफ कपड़े की थैली में पैक कर ले एक लेबल थैली के अंदर डाले तथा थैली को अच्छी तरह से बंद करके उसके बाहर भी एक लेवल लगा दें। किसानों के लिए विभिन्न स्थानों पर मिट्टी की जांच सुविधा निशुल्क उपलब्ध है जैसे कि विश्वविद्यालय में कार्यरत मिट्टी जांच प्रयोगशाला तथा क्षेत्रीय अनुसंधान केंद्र, विभागीय मिट्टी जांच प्रयोगशाला में परीक्षण करवा सकते हैं एवं जांच रिपोर्ट प्राप्त कर सकते हैं।

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